फर्जी खबर वायरल होने से प्रधान परेशान, विरोधी सोशल मीडिया पर लगातार वायरल कर रहे खबर, ग्राम प्रधान संगठन के जिलाध्यक्ष ने जिलाधिकारी से दुष्प्रचार करने वालों के विरुद्ध कड़ी कार्रवाई की मांग की
हरिद्वार । कई दिनों से सोशल मीडिया पर वायरल हो रही एक फर्जी खबर ने ग्राम प्रधानों की मुश्किल बढ़ा दी है। इस खबर में बताया गया कि सरकार की ओर से ग्राम प्रधानों को कोरोना से निपटने के लिए नौ लाख दस हजार रुपये दिए गए हैं। इस राशि से हर ग्राम प्रधान को अपने पंचायत क्षेत्र में सैनिटाइजेशन कराने और सभी परिवारों को कम से कम एक साबुन और चार मास्क दिए जाने अनिवार्य किए गए हैं। वहीं जिला पंचायत राज अधिकारी ने इसी विरोधी सोशल फर्जी करार देते हुए कहा कि ग्राम प्रधानों को कोई पैसा मीडिया पर नहीं दिया जा रहा है। एक खबर की कटिंग के लगातार वायरल किया जा रहा है। लगातार इस खबर में बताया गया है कि यदि कोई प्रधान वायरल कर ग्रामीणों को यह सामान उपलब्ध नहीं कराता है तो उसके विरुद्ध प्रशासन कार्रवाई की जाएगी। कई प्रधानों ने इस बारे में जिला पंचायत राज अधिकारी रमेश चंद्र रहे खबर त्रिपाठी से संपर्क साध कर इस तरह की किसी राशि की उपलब्धता के बारे में स्पष्ट करने को कहा है। जिला पंचायत राज अधिकारी रमेश चंद्र त्रिपाठी का कहना है कि जो खबर प्रचारित की जा रही है उसका उत्तराखंड से तो कोई सरोकार नहीं है। संभव बिहार या झारखंड क्षेत्र से यह खबर प्रकाशित की गई हो। उत्तराखंड में ग्राम प्रधानों के खाते में इस तरह की कोई भी राशि भेजे जाने की सरकार की कोई योजना अभी तक सामने नहीं आई है। उन्होंने बताया कि जिला प्रशासन द्वारा ग्राम प्रधानों के खाते में दस हजार रुपये दिए जाने का प्रावधान है। वह भी उस स्थिति में जबकि बाहर से आने वाले प्रवासियों को गांव के पंचायत भवन या प्राइमरी स्कूल आदि में क्वारंटीन कराने पर प्रधान उन्हें आवश्यक सामान उपलब्ध कराएंगे। यह राशि भी अभी तक उपलब्ध नहीं कराई गई है। उन्होंने कहा कि यह महज दुष्प्रचार किया जा रहा है। ग्राम प्रधान संगठन के जिलाध्यक्ष ग्राम खेड़ली के प्रधान रूपेश कुमार चौहान ने जिलाधिकारी से अपील की है कि इस तरह का दुष्प्रचार करने वालों के विरुद्ध कड़ी कार्रवाई की जानी चाहिए।
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