पुष्कर सिंह धामी 2.0 के कैबिनेट मंत्रियों की लिस्ट तैयार, हाईकमान के सिग्नल का इंतजार, ये विधायक है मंत्री की रेस में

देहरादून । मंत्रिमंडल के सदस्यों की सूची तैयार हो गई है, अब इसके लिए भाजपा हाईकमान के सिग्नल का इंतजार किया जा रहा है। उधर, मंत्री पद के दावेदारों में लाबिंग भी शुरू हो गई है। मंत्रिमंडल में मुख्यमंत्री धामी के अलावा 11 अन्य सदस्य ही शामिल हो सकते हैं, ऐसे में मंत्री बनने का ख्वाब पाले विधायक लॉबिंग में लगे हैं। सरकार के सूत्रों के अनुसार मंत्रियों की सूची लगभग तैयार हो चुकी है। मुख्यमंत्री धामी ने मंत्रियों के नाम को लेकर केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा से चर्चा भी, लेकिन अभी हाईकमान की तरफ से कोई इशारा नहीं मिला है। सूत्रों के अनुसार बुधवार को शपथ ग्रहण से लगभग दो घंटें पहले ही विधायकों को मंत्री बनाए जाने की सूचना दी जाएगी।इससे संभावित दावेदार ऊहापोह में हैं। धामी के पूर्व मंत्रिमंडल के दो सदस्य हरक सिंह रावत और यशपाल आर्य कांग्रेस का दामन थाम चुके हैं, वहीं कैबिनेट मंत्री रहे स्वामी यतीश्वरानंद हरिद्वार ग्रामीण से चुनाव हार चुके हैं लिहाजा धामी को मंत्रिमंडल में नए चेहरों का शामिल करने के लिए ज्यादा जद्दोजहद भी नहीं करनी होगी। ऐसे में युवा विधायकों की दावेदारी को मजबूती मिल रही है। धामी के पुराने मंत्रिमंडल में सतपाल महाराज, बंशीधर भगत, सुबोध उनियाल, विशन सिंह चुफाल, अरविंद पांडे, गणेश जोशी, धन सिंह रावत, रेखा आर्य फिर इस दौड़ में हैं, लेकिन इनमें कुछ नामों पर कैंची चल सकती है। मंत्रिमंडल में इस बार दो महिला विधायक शामिल हो सकती हैं। सोमेश्वर से रेखा आर्य की इस बार भी पुख्ता दावेदारी है। रेखा त्रिवेंद्र, तीरथ और पुष्कर सरकार में मंत्री रह चुकी हैं। अल्मोड़ा की छह में से चार सीटें भाजपा की झोली में आई हैं। इनमें से सल्ट से महेश जीना दूसरी बार जबकि रानीखेत से प्रमोद नैनवाल और जागेश्वर से मोहन सिंह मेहरा पहली बार विधायक चुने गए हैं।वहीं, कोटद्वार चुनाव जीतकर सभी को चौकान्ने वाली ऋतु खंडूड़ी की भी दावेदारी पुख्ता मानी जा रही है। वे दूसरी बार विधायक बनी हैं। पौड़ी जिले में भाजपा के खाते में सभी छह सीटें आई हैं। इनमें चौबट्टाखाल से सतपाल महाराज और श्रीनगर से जीते धन सिंह रावत का मंत्री बनना तय माना जा रहा है। भाजपा में 70 साल से अधिक के तीन कद्दावर विधायक हैं। इनमें कालाढुंगी से बंशीधर भगत, चौबट्टाखाल से सतपाल महाराज और डीडीहाट से विशन सिंह चुफाल शामिल हैं। भाजपा हाईकमान क्या इस बार भी इन्हीं पर दांव खेलेगा या फिर नए युवा चेहरों को शामिल करेगा। इस समीकरण पर भी मंथन शुरू हो गया है। चूंकि महाराज सीएम पद की दावेदारी भी कर रहे थे, ऐसे में उनका पत्ता काटना मुश्किल माना जा रहा है।

उत्तराखंड विधानसभा का अगला स्पीकर कौन हो सकता है, भाजपा मुख्यालय में इसकी भी चर्चाएं शुरू हो गई हैं। निवर्तमान स्पीकर प्रेमचंद अग्रवाल इस दफा मंत्री पद के जोर आजमाइश में लगे हैं। अगर वे मंत्रिमंडल में शामिल होते हैं तो फिर मदन कौशिक और बंशीधर भगत में से किसी एक को इस पद पर एडजस्ट किया जा सकता है।

भाजपा में युवा चेहरों में सितारगंज से विधायक बने सौरभ बहुगुणा और देवप्रयाग से विनोद कंडारी की भी चर्चाएं चल रही हैं। सौरभ पूर्व मुख्यमंत्री विजय बहुगुणा के बेटे हैं। भाजपा पिछले छह साल से विजय बहुगुणा को कहीं एडजस्ट नहीं कर पाई है। ऐसे में सौरभ को मंत्रिमंडल में शामिल कर उन्हें यह इनाम दिया जा सकता है।वहीं, विनोद कंडारी भाजयुमो के प्रदेश अध्यक्ष और राष्ट्रीय सचिव भी रह चुके हैं। इस नाते उनका दावा भी मजबूत माना जा रहा है। इसके साथ ही दलित कोटे से बागेश्वर से चंदन राम दास और राजपुर रोड से खजान दास में से किसी एक की किस्मत खुल सकती है।

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