रुड़की । हमारे देश में 1 जुलाई से ‘एकल उपयोग वाले प्लास्टिक’ के उपयोग पर पूर्ण प्रतिबंध लगा दिया है। पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्रालय ने पिछले साल एक गजट अधिसूचना जारी कर प्रतिबंध की घोषणा की थी, और अब यह पूर्णतः लागू कर दिया गया है । हम सबके दैनिक जीवन में उपयोग होनेवाली बहुत सारी सामग्री प्लास्टिक, गत्ते तथा अन्य चीजों की बनी होती है, जो एक बार उपयोग में आने के बाद अनुपयोगी हो जाती है, और वो एक कचरे के रूप में परिवर्तित हो जाती है और इस कचरे का निस्तारण आज पर्यावरण के लिए एक बहुत बड़े खतरे के रूप में सामने है । इसी को ध्यान में रखते हुए केंद्रीय विद्यालय क्रमांक -1 रूडकी में अनुपयोगी एकल उपयोग वाले प्लास्टिक इत्यादि वस्तुओं का उपयोग कर उससे खिलौने बनाने तथा एक नये रूप में परिवर्तित करने की गतिविधि की प्रतियोगिता का आयोजन किया गया ।
इस प्रतियोगिता तथा आयोजित प्रदर्शनी के महत्व पर प्रकाश डालते हुए प्राचार्य वी के त्यागी ने कहा कि अनुपयोगी वस्तुओं जैसे डिस्पोजल की वस्तुयें, प्लास्टिक की वस्तुयें इन सभी को उपयोग में ला कर, इन्हें नया रूप देना ही इसका मकसद है| इससे वायु प्रदूषण, जल प्रदूषण, मिटटी प्रदूषण जैसी परेशानियों से बचा जा सकता है| विद्यार्थियों ने अपनी कल्पना शक्ति का उपयोग कर अनुपयोगी प्लास्टिक तथा अन्य चीजों से अर्थपूर्ण तथा उपयोगी खिलौने बनाये । इससे उनकी रचनात्मक प्रतिभा निखरकर बाहर आई है। साथ ही वे इससे होनेवाली प्रदूषण की समस्या के बारे में जागरूक हुए है ताकि इसको कम कर इससे निजात पाया जा सके |
इस गतिविधि में विद्यार्थियों ने बढ़ चढ़ कर भाग लिया और सुन्दर सुन्दर उपयोगी चीजें और कलाकृतियाँ बनाई । यह प्रतियोगिता तीन स्तरों पर आयोजित की गयी। कक्षा 1 से 2, कक्षा 3 से 5, तथा कक्षा 6 से 8 ।
कक्षा 1 से 2 में अविशी चौधरी (2 अ ) प्रथम स्थान पर, अदीबा फातिमा एवं पायल (2 ब ) दूसरे स्थान पर तथा परी (1 स) और कृष्णा (1 ब ) तृतीय स्थान पर रही ।
कक्षा 3 से 5 में परिधि (4 अ) तथा तन्वी (4 ब ) प्रथम स्थान पर, अवनि (3 ब) तथा विवान (3 अ ) दूसरे स्थान पर और देवांश (3 अ ) तथा आकांक्षा (5 स ) तृतीय स्थान पर रही ।
कक्षा 6 से 8 में आर्लोव शर्मा (7 अ ) प्रथम स्थान पर, अंश (6 स ) एवं दक्ष (6 ब ) दूसरे स्थान पर तथा प्रियंवदा (8 स )तथा अभिनव (8 अ ) तृतीय स्थान पर रहे । सभी विजेता विद्यार्थियों को बधाई देते हुए उप प्राचार्या श्रीमती अंजू सिंह ने कहा कि अगर हम थोड़ी-सी कोशिश करें तो बेकार चीजों का बेहतर तरीके से उपयोग कर खूबसूरत खिलौने और अन्य चीजें बना सकते हैं तथा पर्यावरण-संरक्षण में अहम योगदान दे सकते हैं। इस अवसर पर प्रदर्शनी में कुसुम जोशी, पूनम कुमारी, जया मालिक पराशर, राखी दायमा तथा सुशील कुमार आदि उपस्थित रहे।
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