आईआईटी रुड़की ने कोविड-19 से निपटने के लिए एक खास निगरानी प्रणाली विकसित की

रुड़की । कोविड-19 ​​संदिग्धों की निगरानी के सरकार के प्रयास में सहयोग करने के उद्देश्य से आईआईटी रुड़की के सिविल इंजीनियरिंग विभाग के प्रोफेसर डॉ. कमल जैन ने एक खास ट्रैकिंग मोबाइल एप्लिकेशन विकसित किया है जो अत्याधुनिक गुणवत्ताओं से संपन्न है। ऐप संदिग्ध व्यक्तियों को ट्रैक कर सकता है और उसके आसपास जियोफेंसिंग का निर्माण भी कर सकता है। क्वारंटाइन किये गए व्यक्ति द्वारा जियोफेंसिंग का उल्लंघन करने पर ऐप के जरिये सिस्टम को एक अलर्ट प्राप्त होता है। अगर किसी भी वजह से जीपीएस डेटा प्राप्त नहीं होता है तो लोकेशन का पता स्वचालित रूप से मोबाइल टावरों के ट्राईन्ग्युलेशन से प्राप्त किया जा सकेगा। यदि किसी खास जगह पर इंटरनेट काम नहीं कर रहा है तो उस जगह का पता एसएमएस के माध्यम से प्राप्त किया जाएगा। ऐप के बंद होने की स्थिति में शीघ्र ही अलर्ट प्राप्त होगा। डिवाइस पर एसएमएस भेजकर व्यक्ति के जगह का पता प्राप्त किया जा सकता है। यह क्वारंटाइन व्यक्तियों/जगहों की तस्वीरों को एक सर्वर पर जियोटैग इमेज अपलोड करने वाले एक गुगल मैप पर साझा करने की अनुमति देता है। इसके अलावा निगरानीकर्ता एक मैप पर सभी रिपोर्ट देख सकते हैं। यदि इसका उपयोग प्रभावित व्यक्ति के साथ किया जाता है तो यह एक खास अवधि के दौरान उसके आसपास के सभी लोगों की रिकॉर्ड/जानकारी प्रदान कर सकता है। “ट्रैकिंग सिस्टम कोविड-19 के लिए अत्याधुनिक निगरानी की अनुमति देता/व्यवस्था प्रदान करता है।क्वारंटाइन प्रबंधन को सुविधाजनक बनाने के अलावा यह निर्धारित एजेंसी को अलर्ट देकर किसी भी जगह पर भीड़-भाड़ को दूर करने में मदद करता है। संकट की इस घड़ी में सरकारी प्रयासों के पूरक के तौर पर यह हमारा एक छोटा प्रयास है,” प्रो. कमल जैन, सिविल इंजीनियरिंग विभाग, आईआईटी रुड़की, ने कहा। यह निगरानी प्रणाली एक प्लग एंड प्ले डिवाइस है| यह 2, 10 या 20 सेकंड के अंतराल पर सूचनाओं के माध्यम से +/- 5 मीटर तक की सटीकता के साथ ट्रैकिंग की अनुमति देता है। लाइव ट्रैकिंग के अलावा निगरानीकर्ता किसी व्यक्ति की पूरी मूवमेंट हिस्ट्री जान सकता है। डेटा के नुकसान की स्थिति में डिवाइस संबंधित टीम को अलर्ट भेजता है। ऐप की अन्य विशेषताओं में मल्टी-कैमरा सपोर्ट, सर्विलांस मैग्नेटिक डिवाइस, हाल्ट टाइम और प्रीसेट ऑटो कैमरा क्लिक शामिल हैं। “हम इस अपूर्व और दुखद स्थिति के दौरान सरकार के प्रयासों में सहयोग करने के लिए प्रतिबद्ध हैं। यह प्रणाली कोविड-19 संदिग्धों की ट्रैकिंग और निगरानी में बहुत मदद करेगी, ” प्रो. अजीत के.चतुर्वेदी, निदेशक आईआईटी रुड़की, ने कहा।

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