चीनी मिल के देहात के सारे तौल केंद्र बंद, साथ ही 18 मार्च में सत्र समाप्त करने का दूसरा नोटिस भी जारी कर दिया
रुड़की । पिछले 15 दिन से लक्सर चीनी मिल को मांग के हिसाब से बहुत कम गन्ना मिल रहा है। इससे फैक्ट्री में रोजाना 15 घंटे तक नो केन हो रहा है। इसे देखते हुए मिल ने देहात में अपने सभी 100 तौल केंद्र बंद कर दिए हैं। साथ ही 18 मार्च में सत्र समाप्त करने का दूसरा नोटिस भी जारी कर दिया है। 2023 की बाढ़ से सभी फसलों को नुकसान हुआ था। सबसे ज्यादा बर्बादी गन्ने की फसल में हुई थी। इसके चलते लक्सर सहित जिले की तीनों चीनी मिलों में गन्ने की कमी है। लक्सर चीनी मिल की प्रतिदिन की पेराई क्षमता 1.20 लाख कुंतल है। लेकिन पिछले दो हफ्ते से मिल को अपनी मांग से आधा गन्ना भी नहीं मिल रहा है। इसे देखते हुए मिल ने 8 मार्च में गन्ने की खरीद फ्री करने के साथ ही 13 मार्च को पेराई सत्र बंद करने का पहला नोटिस जारी किया था। मिल के गन्ना प्रबंधक पवन ढींगरा ने बताया कि नो केन की वजह से मिल को प्रतिदिन 15 से 20 लाख का नुकसान उठाना पड़ रहा है। इसे देखते हुए देहात क्षेत्र में चल रहे गन्ना तलाई के सभी 100 केंद्र बंद कर दिए गए हैं। साथ ही 18 मार्च की रात 12 बजे मिल का पेराई सत्र बंद करने का दूसरा नोटिस गन्ना विभाग व सहकारी गन्ना समितियों को जारी किया गया है। कहा कि किसान के खेत में यदि गन्ना बचा है, तो इससे पहले सीधे गेट पर लाकर तोल करा सकते हैं।