ब्रह्मलीन पायलट बाबा के विचार सदैव प्रेरणा देते रहेंगे: श्रीमहंत रविंद्रपुरी, सभी अखाड़ों के संतों ने दी पायलट बाबा को भू समाधि
हरिद्वार । श्रीपंच दशनाम जूना अखाड़े के ब्रह्मलीन महामंडलेश्वर पायलट बाबा को उनकी इच्छा के अनुसार जगजीतपुर स्थित पायलट बाबा आश्रम में महासमाधि दी गई। ब्रह्मलीन पायलट बाबा को श्रद्धांजलि देने के लिए कई देशों से भक्त हरिद्वार पहुंचे। सभी 13 अखाडों के संत महापुरूष, विभिन्न दलों के नेता, उद्योगपति, कारोबारी भी ब्रह्मलीन पायलट बाबा को श्रद्धांजलि देने पहुंचे। अभिजीत मुर्हत में 11 बजकर 55 मिनट पर जूना अखाड़े के अंतरराष्ट्रीय संरक्षक व अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के राष्ट्रीय महामंत्री श्रीमहंत हरि गिरि महाराज की देखरेख में ब्रह्मलीन पायलट बाबा को महासमाधि दी गई। पायलट बाबा की शिष्या महामंडलेश्वर साध्वी चेतनानंद गिरी महाराज व साध्वी श्रद्धा गिरी महाराज ने उन्हें समाधि दी। उसके बाद शंभू रोट, धूल लौट व तिये का कार्यक्रम हुआ। श्रीमहंत हरी गिरी महाराज ने पायलट बाबा को श्रद्धांजलि देते हुए कहा कि पायलट बाबा सिद्ध संत थे। समाज, देश व धर्म की सेवा के लिए वे हमेशा तत्पर रहते थे। 1974 में जूना अखाड़े से सन्यास यात्रा शुरू करने के बाद अखाड़े के विभिन्न पदों पर रहते हुए उन्होंने अखाड़े की उन्नति में योगदान दिया और पूरे विश्व में सनातन धर्म का प्रचार प्रसार किया। अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद एवं मनसा देवी मंदिर ट्रस्ट के अध्यक्ष श्रीमहंत रविंद्रपुरी महाराज ने कहा कि ब्रह्मलीन पायलट बाबा के विचार और उनका कृतित्व सदैव भक्तों को प्रेरणा देता रहेगा। उनके दिखाए मार्ग पर चलते हुए सनातन धर्म संस्कृति के संरक्षण संवर्द्धन और मानव सेवा का संकल्प ही उन्हें सच्ची श्रद्धांजलि है।
आवाहन अखाड़े के आचार्य महामंडलेश्वर स्वामी अरूण गिरी महाराज ने कहा कि संत समाज की दिव्य विभूति ब्रह्मलीन पायलट बाबा संतों और भक्तों की स्मृतियों में सदैव जीवंत रहेंगें। जूना अखाड़े के अंतरराष्ट्रीय अध्यक्ष श्रीमहंत प्रेम गिरि महाराज ने कहा कि पहले भारतीय वायुसेना के विंग कमांडर व उसके बाद एक सच्चे व सिद्ध संत के रूप में महायोगी पायलट बाबा ने समाज, देश व सनातन धर्म की सेवा की मिसाल कायम की। जूना अखाडा के अंतरराष्ट्रीय प्रवक्ता श्रीमहंत नारायण गिरि महाराज ने कहा कि महामंडलेश्वर महायोगी पायलट बाबा की प्रेरणा से विश्व के अनेक देशों के लोगों ने सनातन धर्म संस्कृति को अपनाया। आनन्द पीठाधीश्वर आचार्य महामंडलेश्वर स्वामी बालकानंद गिरी, स्वामी ब्रह्मस्वरूप ब्रह्मचारी, महामंडलेश्वर स्वामी हरिचेतनानंद, महंत बलवीर गिरी ने कहा कि सनातन धर्म संस्कृति के प्रचार प्रसार में ब्रह्मलीन पायलट बाबा का योगदान सदैव स्मरणीय रहेगा। ब्रह्मलीन पायलट बाबा के कृपापात्र स्वामी प्रेमानंद महाराज ने कहा कि पूज्य गुरूदेव ने दीन दुखियों की सेवा में अहम योगदान दिया। श्रद्धांजलि अर्पित करने वालों में सांसद अजय भट्ट, महामंडलेश्वर अर्जुन गिरी महाराज, आवाहन अखाड़े के आचार्य महामंडलेश्वर अरूण गिरी महाराज, जूना अखाड़ा के राष्ट्रीय सचिव श्रीमहंत महेशपुरी महाराज, सचिव श्रीमहंत शैलेंद्र गिरि महाराज, सचिव देवानंद गिरी महाराज, बलबीर गिरी महाराज, थानापति धर्मेंद्र गिरी महाराज, स्वामी प्रेमानंद गिरी महाराज, महामंडलेश्वर सरोजानंद गिरी महाराज, महंत महाकाल गिरी महाराज, आचार्य महामंडलेश्वर बालकानंद गिरी महाराज, महामंडलेश्वर स्वामी गर्वगिरी, महामंडलेश्वर स्वामी यतिन्द्रानन्द गिरी, महामंडलेश्वर हरिचेतनानंद महाराज, जयराम आश्रम के परमाध्यक्ष ब्रहमस्स्वरूप ब्रहमचारी महाराज, अष्टकौशल मंहत प्रचार गिरी महाराज, उप आचार्य महामंडलेश्वर स्वामी कपिल पुरी महाराज, महंत महाबलवीर गिरि, योगमाता केको आईकावा, कैला देवी, महामंडलेश्वर शैलेशानन्द गिरी महाराज, महामंडलेश्वर स्वामी दर्शन गिरि समेत 13 अखाड़ों के महंत, श्रीमहंत, महामंडलेश्वर समेत भक्तों ने महायोगी पायलट बाबा को नम आंखों से महासमाधि दी व श्रद्धांजलि अर्पित की।