प्रधानमंत्री मोदी के कारण आज भारत दुनिया का नेतृत्व कर रहा: धामी, विवि के 40वें ज्ञानदीक्षा समारोह में बतौर मुख्य अतिथि पहुंचे मुख्यमंत्री
हरिद्वार । मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि पहले भारत को दब्बू, पिछलग्गू माना जाता था। प्रधानमंत्री मोदी के कारण आज भारत दुनिया का नेतृत्व कर रहा है। उन्होंने कहा कि यही नया भारत है। प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में पूरा विश्व भारत की ओर देख रहा है। 21 जून को आयोजित योग दिवस इसका एक उदाहरण है। प्रधानमंत्री मोदी ने न्यू इंडिया का जो सपना देखा है, हम सबको उस सपने को साकार करने में अपना योगदान देना है। यह बातें मुख्यमंत्री ने देवसंस्कृति विवि में आयोजित ज्ञानदीक्षा कार्यक्रम के दौरान कहीं। शनिवार को मुख्यमंत्री विवि के 40वें ज्ञानदीक्षा समारोह में बतौर मुख्य अतिथि पहुंचे। विवि में नया सत्र प्रारंभ हो गया है। कार्यक्रम विवि के मृत्युंजय सभागार में आयोजित किया गया। कार्यक्रम में विवि के कुलाधिपति डॉ. प्रणव पण्ड्या ने ऑनलाइन माध्यम से सभी नए विद्यार्थियों को दीक्षा संकल्प दिलाया और विद्यार्थियों को बताया कि एक साधारण शिष्य को जब कृष्ण के जैसे अच्छा गुरु मिलता है, तब वह अर्जुन बनता है। ज्ञानदीक्षा संस्कार विद्यार्थियों को नवजीवन प्रदान करने वाला है। जीवन में आध्यात्मिकता को उतारने का यह श्रेष्ठ अवसर है।कार्यक्रम के दौरान नए विद्यार्थियों की ज्ञानदीक्षा प्रारंभ करते हुए विद्यार्थियों पर गंगाजल का छिड़काव किया गया। विद्यार्थियों से प्राणायाम कराया गया। विद्यार्थियों ने देवभूमि का स्पर्श और भूमि को प्रणाम किया। विद्यार्थियों ने देवी-देवताओं, अवतरियों, साधु-संतों, सिद्धों, मातृ शक्ति, सभी धर्म सम्प्रदाय और विद्या को नमन किया। भगवान से प्रार्थना और मंत्रोच्चारण के साथ ज्ञानदीक्षा का नया सत्र की शुरुआत की गई। मुख्यमंत्री धामी ने कहा कि पं.श्रीराम शर्मा का जीवन भारत की संस्कृति के लिए समर्पित रहा। श्रीराम शर्मा के विचारों को आने वाली पीढि़यां अपने स्मरण में रखेंगी। श्रीराम शर्मा का बोया पेड़ वर्तमान समय में वट वृक्ष बन चुका है। शांतिकुज परिवार सभी को प्रकाश और ज्ञान देने का कार्य कर रहा है। डॉ. प्रणव पण्ड्या और डॉ. चिन्मय पण्ड्या श्रीराम शर्मा के सिद्धांतों पर चल कर कार्य कर रहे हैं।मुख्यमंत्री ने विद्यार्थियों को समय का मूल्य बताया। उन्होंने कहा कि समय जीवन में महत्वपूर्ण है। यह काल विद्यार्थियों का अमृत काल है, इसमें विद्यार्थियों को नए भारत के निर्माण का कार्य करना है। यहां उपस्थित सभी विद्यार्थियों पर देव कृपा है। इस वजह से सभी विद्यार्थी यहां बैठे हैं। सभी को यहां अध्ययन करना है। यहां ज्ञान प्राप्त कर अन्य लोगों तक पहुंचाएं। ज्ञान की गंगोत्री लगातार बहती रहनी चाहिए। उन्हें पूर्ण विश्वास है कि सभी छात्र अपने परिश्रम से इस ज्ञान की गंगोत्री को सफल बनाते हुए आगे बढ़ाएंगे।विवि के प्रतिकुलपति डॉ. चिन्मय पण्ड्या ने कहा कि इस ज्ञानदीक्षा कार्यक्रम का सार यह है कि जो कर्तव्य हमें मिला है, उसका दायित्व हम पूरी निष्ठा से सही करें। नए विद्यार्थी इस संस्था से जो कुछ लेकर जाना चाहते हैं, वही आगे उनका जीवन बनेगा। प्रवेश परीक्षा पास करने के बाद विद्यार्थियों का यह पहला दिन है।कार्यक्रम में कुलपति शरद पारधी, डीएम विनय शंकर पाण्डेय, एसएसपी डॉ. योगेन्द्र सिंह रावत, एडीएम पीएल शाह, सिटी मजिस्ट्रेट अवधेश कुमार सिंह, एसडीएम पूरण सिंह राणा, एसपी सिटी स्वतंत्र कुमार सिंह, पूर्व मेयर मनोज गर्ग, विकास तिवारी, विद्यार्थी और अभिभावक मौजूद रहे।