जिंदगी को समझना और जीना भूला देती है अल्जाइमर की बीमारी, इस तरह करें लक्षणों की पहचान
अल्जाइमर एक ऐसी बीमारी है जिसके मरीज देश और दुनिया में तेजी से बढ़ रहे हैं। इस साल अल्जाइमर डे की थीम’नेवर टू अर्ली, नेवर टू लेट’है। अल्जाइमर या डिमेंशिया एक ऐसी परेशानी है जो ज्यादातर उम्र बढ़ने पर होती है। अल्जाइमर की बीमारी को डिमेंशिया भी कहा जाता है।डिमेंशिया की वजह से मरीज की याद्दाश्त कमजोर होने लगती है और इंसान को भूलने की आदत होने लगती है। डिमेंशिया से पीड़ित इंसान अपना सामान रखकर भूल जाता है,अपने साथी,अपने परिवार के सदस्यों को भूलने लगता है। अपने जरूरी कामों को भी करना भूल जाता है। उसे कोई खास दिन और खास काम याद नहीं रहता। अल्ज़ाइमर रोग एक न्यूरोलॉजिकल डिसऑर्डर है जो मस्तिष्क की तंत्रिका कोशिकाओं को नष्ट करता है, ये बीमारी सोच और विचार को प्रभावित करती है। अल्जाइमर से पीड़ित इंसान को अपने दैनिक कार्यों को करने में परेशानी होती है। इस बीमारी के लक्षण इतने ज्यादा बढ़ जाते हैं कि मरीज किसी काम को नहीं कर पाता। इस बीमारी से पीड़ित इंसान पूरी तरह दूसरों पर निर्भर रहता है। ऐसा माना जाता है कि अल्जाइमर रोग मस्तिष्क कोशिकाओं में और उसके आसपास प्रोटीन के असामान्य निर्माण के कारण होता है। इसमें शामिल प्रोटीनों में से एक को अमाइलॉइड कहा जाता है, जिसके जमा होने से मस्तिष्क कोशिकाओं के चारों ओर प्लाक बन जाते हैं। अब सवाल ये उठता है कि अल्जाइमर के लक्षणों की पहचान कैसे करें और इससे बचाव कैसे करें।
अल्जाइमर के लक्षण कौन-कौन से हैं
अल्जाइमर से पीड़ित इंसान सुरक्षा और जोखिमों की समझ नहीं रखता।
अल्जाइमर की बीमारी में निर्णय लेने की क्षमता प्रभावित होती है।
मरीज डिप्रेशन में रहता है और उदासीनता महसूस करता है।
अल्जाइमर से पीड़ित इंसान अलग रहना पसंद करता है।
चिड़चिड़ापन और सोने की आदतों में बदलाव।
मरीज ज्यादा गुस्सा करता है,ज्यादा परेशान रहता है।
जिन कामों को करने में मरीज रूची लेता था उसे भी करना पसंद नहीं करता।
इस बीमारी से बचाव करना है तो डाइट और लाइफस्टाइल में बदलाव करें। डाइट में जरूरी पोषक तत्व जैसे विटामिन के,आयरन,विटामिन सी और कई एंटीऑक्सिडेंट से भरपूर फूड्स का सेवन करें। इन सभी पोषक तत्वों की प्राप्ति के लिए आप डाइट में हरी पत्तेदार सब्जियों,सलाद,केल,और अन्य पकी हुई सब्जियों को शामिल करें। हफ्ते में कम से कम 2 बार जामुन जरूर खाएं।
अल्जाइमर की बीमारी से बचाव करने के लिए बॉडी को एक्टिव रखें। बॉडी को एक्टिव रखने के लिए आप वॉक,एक्सरसाइज और योगा का सहारा ले सकते हैं। इन उपायों को करने से मस्तिष्क में ब्लड फ्लो में सुधार होता है।
अल्जाइमर से बचाव करने के लिए मस्तिष्क की एक्सरसाइज करना भी जरूरी है। मानसिक चुस्ती अल्जाइमर से बचाव करने में मदद कर सकती है। आप मानसिक एक्सरसाइज में चेस या सुडोकू खेल सकते हैं।